दो महीने में 5वीं बार भूकंप के झटके, 4.6 मापी गई तीव्रता


नई दिल्ली । दिल्ली-एनसीआर में एक बार फिर भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। शुक्रवार रात 9 बजकर आठ मिनट पर भूकंप से झटकों से धरती हिल उठी। भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 4.6 दर्ज की गई। मिली जानकारी के अनुसार, दिल्ली, नोएडा, गुरुग्राम, फरीदाबाद, सोनीपत और गाजियाबाद समेत अन्य जगहों पर भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। जैसे भूकंप के झटके आए लोग घरों और दफ्तरों से बाहर निकल गए।


नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी (NCS) के अनुसार, रिक्टर पैमाने पर भूकंप 4.6 दर्ज किया। इसका केंद्र हरियाणा के रोहतक में था। यह धरती की 16 किमी की गहराई पर था। भूकंप शुक्रवार रात 9 बजकर आठ मिनट पर महसूस किया गया। भूकंप की वजह से अभी तक किसी प्रकार की जानमाल की सूचना नहीं है।


दो महीने में 5वीं बार भूकंप के झटके


दिल्ली-एनसीआर में यह पांचवा मौका था जब भूकंप महसूस किए गए। इससे पहले 12 और 13 अप्रैल को भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। इसके अलावा 10, 15 और 29 मई को धरती कांपी है। 12 अप्रैल को भूकंप की तीव्रता 3.5 थी, जबकि 13 अप्रैल को रिक्टर पैमाने पर इसे 2.7 दर्ज किया गया था। इससे पहले जितने भी बार भूकंप आए थे उनकी तीव्रत चार से कम थी। बता दें कि भूकंप के लिहाज से दिल्ली सिस्मिक जान चार में आती है।


भूकंप से इन जगहों पर ज्यादा खतरा


पृथ्वी विज्ञान की एक रिपोर्ट के अनुसार, दिल्ली के यमुना के मैदानों में भूकंप से ज्यादा खतरा है। पूर्वी दिल्ली, लुटियंस दिल्ली, सरिता विहार, पश्चिम विहार, वजीराबाद, करोलबाग और जनकपुरी जैसे इलाकों में बहुत आबादी रहती है, इसलिए वहां खतरा ज्यादा है। रिपोर्ट के मुताबिक, छतरपुर, नारायणा, वसंत कुंज जैसे इलाके बड़ा भूकंप झेल सकते हैं।


इसके अलावा दिल्ली में जो नई इमारतें बनी हैं, वे 6 से 6.6 तीव्रता के भूकंप को झेल सकती हैं। पुरानी इमारतें 5 से 5.5 तीव्रता का भूकंप सह सकती हैं। दिल्ली ने 2008 और 2015 में नेपाल भूकंप के बाद पुरानी इमारतों को ठीक करने की कवायद शुरू की थी। दिल्ली सचिवालय, दिल्ली पुलिस मुख्यालय, विकास भवन, गुरु तेग बहादुर अस्पताल की इमारत को भी मजबूत किया गया था।